मनुष्य के जीवन में विपत्तियां, कठिनाईयां, विपरीत परिस्थितियां और कष्ट की घड़ियां आती ही रहती हैं । सुख-दुःख जीवन रथ के दो पहिए हैं । इनसे कभी डरना या घबराना नहीं चाहिए । कठिनाइयां मनुष्य को संघर्ष करने की शक्ति देती हैं और उसकी उन्नति में और आत्मिक विकास में सहायक होती है । (सामवेद-६५३
2019